देवब्रत मंडल
गया जंक्शन पर वंदे भारत सेमी हाई स्पीड ट्रेन के उद्घाटन समारोह के दौरान रेलवे के एक बड़े साहब का मोबाइल ‘गुम’ हो गया। साहेब मोबाइल गुम हो जाने की जानकारी उस वक्त हुई जब उन्हें अपने मुख्यालय को लौटना था।
ये बात धीरे धीरे कई अधिकारियों तक पहुंच गई। बात होने लगी कि साहेब का मोबाइल चोरी हो गया। फिर क्या था, बड़ी बदनामी की बात होने लगी। इसके बाद खुफिया तरीके से साहेब का मोबाइल ढूंढा जाने लगा। साहेब तो निराश हो गए और मुख्यालय लौट गए। इधर खोजबीन शुरू हुई। मोबाइल का पता लगाने के लिए तकनीकी टीम लग गई। मोबाइल का टावर लोकेशन ट्रेस किया जाने लगा।
पता चला कि साहेब का मोबाइल का लोकेशन कभी इधर तो कभी उधर बता रहा है। जिधर का लोकेशन मिलता, उस तरफ दौड़ लगाया जाने लगा। अंत में मोबाइल पर बात हुई। इसके बाद मोबाइल लेने वाले व्यक्ति गया जंक्शन पर आए और साहेब का गुम हो गया मोबाइल लौटा दिया गया।
मोबाइल भी एक भले आदमी के पास था। मोबाइल लौट आया था। इसके बाद सभी ने राहत की सांस ली। दरअसल बात यह थी कि जिस कुर्सी पर साहेब बैठे थे उसी कुर्सी पर मोबाइल उनका छूट गया था जिस पर एक भलेमानस के हाथ लग गई थी। जो चाहते थे कि मोबाइल उन्हें ही मिले, जिनका मोबाइल है और अंत में यही हुआ। साहेब का मोबाइल लौटा दिया गया। अब इस मिशन में जुटी टीम को प्रशस्ति पत्र मिलता है या नहीं, ये देखने वाली बात है लेकिन जिस तत्परता से मोबाइल ढूंढ लिया गया, इसकी चर्चा संबंधित महकमे में हो रही है