
गया। जिले में हर शुक्रवार को होने वाला जनता दरबार इस सप्ताह स्थगित रहा, लेकिन जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजन एसएम ने कुछ आवश्यक मामलों की सुनवाई की। दूर-दराज से आए फरियादियों की समस्याओं पर उन्होंने तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए।
मोहनपुर प्रखंड के इटवा गांव निवासी राज कुमार मालाकार ने एक गंभीर शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि उनके पड़ोसी ने बगल की खाली जमीन में गड्ढा खोदा, जिससे उनके पुश्तैनी मकान की दीवार ढह गई। इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जिलाधिकारी ने तुरंत जांच के आदेश दिए। साथ ही उन्होंने बताया कि ऐसे भूमि विवाद संबंधी मामलों की सुनवाई हर शनिवार को स्थानीय थाने में की जाती है।
एक अन्य प्रकरण में, मुफस्सिल थाना क्षेत्र के महसूद आलम ने शिकायत की कि कुछ दबंग लोग उनकी खुद की जमीन पर मकान बनाने में बाधा डाल रहे हैं। जिलाधिकारी ने इस मामले में अंचलाधिकारी और थानाध्यक्ष को संयुक्त रूप से सुनवाई करने का निर्देश दिया।
दरबार में एक और महत्वपूर्ण मुद्दा उठा जब अतरी, मोहड़ा और नीमचक बथानी के चार जलछाजन सचिवों ने अपना 10 महीने का बकाया वेतन न मिलने की शिकायत की। यह मामला प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना से जुड़ा हुआ था। जिलाधिकारी ने भूमि संरक्षण विभाग के अधिकारी को इस मामले की गहन जांच कर शीघ्र कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
जनता दरबार में जिले के कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे, जिनमें डीडीसी, एडीएम (राजस्व), ओएसडी, डीपीआरओ (पंचायत और जनसंपर्क), और सहायक निदेशक अल्पसंख्यक कल्याण शामिल थे। यह दरबार स्थानीय प्रशासन और आम जनता के बीच सीधे संवाद का एक प्रभावी मंच साबित हो रहा है, जहां लोगों की समस्याओं का त्वरित निराकरण किया जाता है।