जिले का एक गांव ऐसा, जहां स्कूल नहीं, पानी की टंकी टावर पर लगाने के बजाय यात्री शेड की छत पर रख दिया गया

Deobarat Mandal

देवब्रत मंडल

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गया जिले के फतेहपुर प्रखंड का एक गांव है रेंगैनी। जो कि नौडीहा झुरांग पंचायत अंतर्गत आता है। इस गांव में सरकारी स्कूल नहीं है। यहां के बच्चों को 7-8 किमी की दूरी तय कर किसी दूसरे गांव में पढ़ने के लिए जाना पड़ता है।

यात्री शेड की छत पर रख दिया गया पानी का टंकी

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इस गांव में सरकार की महत्वाकांक्षी योजना हर घर नल जल की कहानी जानकर आश्चर्य होता है कि इस योजना के तहत जलापूर्ति के लिए तो टावर लगाने का काम कर दिया गया है लेकिन पानी की टंकी टावर के ऊपर लगाने के बजाय यात्री शेड के छत पर रख दिया गया है। गांव वाले कहते हैं कि ये अधूरा काम हुआ है। टंकी टॉवर पर होना चाहिए पर यात्री शेड की छत पर लगा दिया गया है।

कई जगहों पर नाली निर्माण नहीं कराया जा सका

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गांव में रहनेवाले लोगों के लिए सड़क पक्की तो नहीं बनाई गई है पर ईंट सोलिंग के लिए पेवर ब्लॉक नजर आया। कई जगहों पर नाली निर्माण के लिए लोग इंतजार कर रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि नाली नहीं बने रहने से काफी परेशानी होती है।

कई बार सांसद और विधायक को पत्राचार कर चुके हैं

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यहां के रहनेवाले एक सभ्य व्यक्ति सुनील कुमार बताते हैं कि इस क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले सांसद और विधायक को कई बार पत्राचार कर चुके हैं। इनका कहना है गांव में स्कूल नहीं होने से बच्चे 7-8 किमी की दूरी जंगल के रास्ते तय कर पढ़ने के लिए आते जाते हैं। बरसात हो जाड़ा। गर्मी हो या फिर और कोई मौसम। बच्चों को परेशानी होती है।
उन्होंने बताया हाल ही में केंद्रीय मंत्री जीतनराम मांझी को इस गांव में एक स्कूल नहीं होने से उत्पन्न समस्या से अवगत कराया गया है। ग्रामीणों ने इस गांव में एक स्कूल बनवाने की मांग की है।

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